★ कोलाहल नियंत्रण अधिनियम सहित विभिन्न नियमों के तहत सरगुजा जिले में हुई सबसे बड़ी कार्रवाई
अंबिकापुर। आज प्रशासन की संयुक्त टीम ने एक बड़ी कार्यवाही करते हुए 05 डीजे, 12 संचालकों को समझाइश, दो वाहन स्वामियों पर 25 हजार तक का जुर्माना की कार्यवाही की। नियमों के उल्लंघन पर इसी तरह की जारी रहेगी कार्रवाई।
जनहित के मद्देनजर कलेक्टर के सख्त निर्देश माननीय उच्च न्यायालय छत्तीसगढ़ द्वारा जनहित में ध्वनि प्रदूषण की रोकथाम संबंध में पारित आदेश के पालन में मुख्य सचिव अमिताभ जैन द्वारा बीते बुधवार को अधिकारियों की उच्च स्तरीय बैठक ली गई। जहां मुख्य सचिव ने ध्वनि प्रदूषण अधिनियम का उल्लंघन करने वालों पर सख्त कार्यवाही करने राज्य के सभी कमिश्नरों, आईजी, कलेक्टर और पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिए।
इसी कड़ी में कलेक्टर कुन्दन कुमार के मार्गदर्शन में जिले में प्रशासनिक टीम एक्शन मोड में नजर आ रही है। त्योहारों, पर्वों और शादी ब्याह के सीजन को देखते हुए ध्वनि विस्तारक यंत्रों जैसे डीजे, एम्प्लीफायर्स सहित मोटर व्हीकल अधिनियम का उल्लंघन करने वाले वाहनों पर जनहित को ध्यान में रखते हुए कड़ी कार्रवाई किए जाने के निर्देश दिया है। जिसके बाद त्वरित कार्यवाही करते हुए प्रशासनिक टीमों द्वारा डीजे दुकानों सहित विभिन्न स्थानों पर जाकर निर्धारित मानकों के आधार पर जांच की गई। संतोषजनक स्थिति नहीं पाए जाने पर अब तक 05 डीजे संचालकों से जप्ती और 02 वाहन चालकों पर मोटर व्हीकल अधिनियम के तहत जुर्माने की कार्रवाई भी की गई है। वहीं लगभग 12 संचालकों को समझाइश दी गई है कि ध्वनि प्रदूषण (विनिमय और नियंत्रण) नियम 2000, कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 एवं माननीय सुप्रीम कोर्ट एवं माननीय हाई कोर्ट के द्वारा समय-समय पर दिए गए निर्देशों, मापदण्डों एवं गाइडलाइनों का पालन अनिवार्य रूप से करना होगा।
अंबिकापुर के केदारपुर में जांच के दौरान वाहन स्वामी राजेश गुप्ता द्वारा बिना सक्षम अधिकारी के अनुमति अनुज्ञा के सूरजपुर जिले से परिचालन कर अंबिकापुर में प्रतिबंधित ध्वनि क्रियाकलापों में उपयोग के लिए परिवहन करते पाया गया। जिसमें 15 नग चोंगा, 10 नग बॉक्स, 6 नग एम्प्लीफायर्स, 01 मिक्सर मशीन सहित अन्य सामग्रियों को जब्त कर लिया गया तथा 05 हजार रुपए का जुर्माना लगाया गया। वाहनों में अनियमितता पाए जाने पर डीजे वाहन स्वामी छत्रपाल सिंह पर मोटर व्हीकल अधिनियम की धारा 194(1)(ए) के तहत 20 हजार रुपए जुर्माना भी लगाया गया। इसी प्रकार निर्धारित मानकों के विरुद्ध पाए जाने पर अन्य डीजे संचालकों पर डीजे जब्ती की कार्रवाई की गई।
कलेक्टर कुन्दन कुमार ने समस्त अनुविभागीय अधिकारी राजस्व एवं पुलिस, जिला परिवहन अधिकारी तथा क्षेत्रीय अधिकारी पर्यावरण संरक्षण मण्डल की बैठक लेकर छत्तीसगढ़ कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 की धारा 5 एवं ध्वनि प्रदूषण (नियंत्रण तथा नियमन) नियम 2000 के प्रावधानों व शर्तों के अधीन शहर में कानफोडू डीजे को लेकर नियमानुसार तत्काल कार्यवाही करने के निर्देश दिये हैं। जिसके परिपालन में नियमों का उल्लंघन करने वाले डीजे संचालकों के विरूद्ध कोलाहल नियंत्रण अधिनियम तथा अन्य सुसंगत विधि अनुसार दण्डात्मक एवं जब्ती की कार्यवाही शुरू कर दी गई है। पुलिस अधीक्षक सुनील शर्मा ने भी अधिकारियों को इस संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। साथ ही कहा कि आगामी दिवसों में चुनावी रैलियों, सभाओं में नियमों का उल्लंघन करने पर नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी। जिले में ध्वनि विस्तारक यंत्र के उपयोग पर सतत निगरानी रखी जाये और नियम उल्लंघन होने पर सख्त कार्यवाही भी सुनिश्चित की जाये।
गौरतलब है कि कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी कुन्दन कुमार द्वारा आदेश जारी कर अंबिकापुर शहरी क्षेत्र में होने वाले अत्यधिक कोलाहल को दृष्टिगत रखते हुए ध्वनि प्रदूषण विनियमन और नियंत्रण) नियम 2000 के तहत लाउडस्पीकर और लोक संबोधन प्रणाली ( और ध्वनि उत्पन्न करने वाले उपकरण) का प्रयोग रात्रि 10 बजे से प्रातः 06 बजे तक प्रतिबंधित किया है। जारी आदेशानुसार उक्त अवधि को छोड़कर सावर्जनिक स्थान जहां लाउडस्पीकर यो लोक संबोधन प्रणाली या ध्वनि का कोई अन्य स्त्रोत उपयोग में लाया जाता है तो ध्वनी का स्तर 10 डीबी (ए) या 75 डीबी (ए) जो भी कम हो से अधिक नहीं होगी। इसी प्रकार भोपू (हॉर्न) के उपयोग, फटाखे फोड़ा जाना आवासीय क्षेत्र में रात्रि 10 बजे से प्रातः 06 बजे तक प्रतिबंधित रहेगा।