अंबिकापुर। बलरामपुर जिले के शंकरगढ वन परिक्षेत्र में लगातार दूसरे दिन जंगली हाथियों के हमले से ग्रामीण की मौत हो गई। एक सप्ताह के भीतर हाथियों के हमले से तीन लोगों की मौत हो चुकी है। लगातार घटनाओं के बाद भी वन विभाग की ओर से जनहानि रोकने जमीनी स्तर पर सार्थक प्रयास नहीं किए जा रहे हैं। जंगली हाथियों की सही तरीके से निगरानी नहीं होने और ग्रामीणों को उस अनुरूप सतर्क नहीं करने के कारण घटनाएं हो रही है।
बलरामपुर जिले के शंकरगढ़ वन परिक्षेत्र अंतर्गत ग्राम परसाढोडी में शनिवार भोर में हाथियों ने एक ग्रामीण को कुचल कर मार डाला।मृतक भोर में खेत की ओर जा रहा था इसी दौरान क्षेत्र में घूम रहे हाथियों के दल से उसका सामना हो गया। हाथियों ने उसे कुचलकर मार दिया। इस घटना की जानकारी पर वन विभाग की टीम सुबह गांव पहुंची और मृतक के स्वजन को तत्कालीन सहायता राशि दी। घटना की सूचना पर पुलिस टीम भी गांव पहुंची थी। शुक्रवार को ही इसी दल से बिछड़े एक हाथी ने ग्राम पंचायत दोहना के आश्रित ग्राम पतराटोली में भी एक महिला को मार दिया था। हाथियों ने उसके शव के दो टुकड़े कर दिए थे। दी दिन के भीतर हाथियों के कारण जनहानि की दो घटनाओं से ग्रामीणों में नाराजगी है। आरोप लगाया जा रहा है कि वन विभाग हाथियों की सही तरीके से निगरानी नहीं कर रहा है। हाथियों की सतत निगरानी कर उनके विचरण क्षेत्र में ग्रामीणों को सतर्क करने से ऐसी घटनाओं से बचा जा सकता है लेकिन गांव वालों को पता ही नहीं चल पा रहा है कि हाथी किस ओर विचरण कर रहे हैं। हाथियों से आमना सामना हो जाने के कारण जनहानि की घटनाएं हो रही हैं। इसी वन परिक्षेत्र में एक सप्ताह के भीतर हाथियों ने तीन लोगों को मौत के घाट उतार दिया है।
हाथियों ने फिर एक ग्रामीण को कुचल कर मार डाला, लगातार दूसरे दिन हुई घटना से भयभीत हैं ग्रामीण
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