★ हथकड़ी पहनाकर जेल भेजने पर कांग्रेस ने उठाए सवाल
बलरामपुर @thetarget365 कृषि मंत्री रामविचार नेताम के विरुद्ध अमर्यादित टिप्पणी करने वाले जनपद सदस्य व कांग्रेस नेता मो. बख्श की गिरफ्तारी और हथकड़ी लगाकर पैदल जेल ले जाने पर कांग्रेस ने सवाल उठाया है। जनपद सदस्य के विरुद्ध मतदान के 10 दिन बाद मतपेटी छिनने के आरोप पर एक और प्राथमिकी ने नए विवाद को जन्म दे दिया है। कांग्रेस ने पूछा है कि यदि मतपेटी और मतपत्र छिनने का प्रयास किया गया तो राज्य निर्वाचन आयोग को निष्पक्ष चुनाव की जानकारी क्यों भेजी गई? उस केंद्र में पुनर्मतदान क्यों नहीं कराया गया?
बलरामपुर कांग्रेस के जिला प्रवक्ता व अधिवक्ता सुनील सिंह ने निर्वाचित जनप्रतिनिधि मोहम्मद बख्श की गिरफ्तारी और उन्हें हथकड़ी पहनाकर पेश करने को लेकर सरकार और पुलिस प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का हवाला देते हुए कहा कि किसी भी व्यक्ति को हथकड़ी पहनाकर इस तरह सार्वजनिक रूप से अपमानित नहीं किया जा सकता, खासकर जब वह कोई खूंखार अपराधी न हो बल्कि जनता द्वारा चुना गया प्रतिनिधि हो।
सुनील सिंह ने स्वीकार किया कि मोहम्मद बख्श के बयानों को लेकर विवाद हुआ था और इसके लिए उन्होंने व्यक्तिगत रूप से और पार्टी की ओर से क्षमा भी मांगी, लेकिन उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि क्या मोहम्मद बख्श पर आरोप लगाने वाले दूध के धुले हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सोशल मीडिया और समाचार माध्यमों में कई वीडियो मौजूद हैं, जो मोहम्मद बख्श पर आरोप लगा रहे हैं उनके भड़काऊ बयान दर्ज हैं। चर्चा के दौरान जिला कांग्रेस के उपाध्यक्ष अजय गुप्ता, महामंत्री जितेंद्र गुप्ता व अन्य कांग्रेस जन उपस्थित रहे।
सत्ता के दबाव में है प्रशासन
जनपद सदस्य पर मतदान के 10 दिनों बाद दर्ज प्राथमिकी को लेकर कांग्रेस जिला प्रवक्ता सुनील सिंह ने यह दावा किया कि 23 तारीख की कथित घटना को लेकर पांच मार्च को 10 दिन बाद भाजपा कार्यकर्ताओं के दबाव में प्रशासन ने षड्यंत्रपूर्वक अपराध पंजीबद्ध करवाया। उन्होंने कहा कि कई प्रश्न विचारणीय है जिनका जवाब कांग्रेस के साथ आमजनों को सत्ता का दुरुपयोग करने वालों को देना होगा। उन्होंने प्रशासन पर सत्ता के दबाव में काम करने का आरोप लगाते हुए कहा कि सिर्फ दो-तीन घंटे में गिरफ्तारी और जेल भेजने की त्वरित कार्रवाई दर्शाती है कि पुलिस सत्ता और क्षेत्रीय नेताओं के इशारे पर काम कर रही है।
कांग्रेस का सवाल
✅ अगर मतदान में गड़बड़ी हुई थी, तो मतदान केंद्र के पीठासीन अधिकारी, सेक्टर अधिकारी, रिटर्निंग ऑफिसर और नोडल अधिकारी ने उसी दिन चुनाव रद्द क्यों नहीं किया?
✅ राज्य निर्वाचन आयोग को आखिर गलत रिपोर्टिंग कैसे की गई ?
✅ अगर मोहम्मद बख्श ने मतपत्र से छेड़छाड़ की थी, तो इसकी तत्काल सूचना निर्वाचन अधिकारी या थाने को क्यों नहीं दी गई ?
हथकड़ी लगाने से जुड़े कानूनी नियम
कांग्रेस के जिला प्रवक्ता व पेशे से अधिवक्ता सुनील सिंह ने हथकड़ी लगाने से जुड़े कानूनी नियम की भी जानकारी सार्वजनिक की है। उन्होंने कहा कि भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) के तहत, पुलिस को आदतन अपराधियों, हिरासत से भागने वालों और गंभीर अपराधियों को हथकड़ी लगाने का अधिकार है। सीआरपीसी के तहत पुलिस को गिरफ़्तारी के लिए उचित बल का इस्तेमाल करने का अधिकार है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि हथकड़ी लगाना क्रूर और अमानवीय कृत्य है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि असाधारण मामलों में ही हथकड़ी लगाई जा सकती है।सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि संदिग्ध को अदालत में पेश करते समय, असाधारण परिस्थितियों को छोड़कर।हथकड़ी का इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए।
अन्याय के खिलाफ आवाज नहीं उठाई गई तो तानाशाही और बढ़ेगी
कांग्रेस के जिला प्रवक्ता सुनील सिंह ने इस पूरे मामले को जनप्रतिनिधियों का अपमान बताते हुए कहा कि अगर उनकी आवाज नहीं उठाई गई, तो यह तानाशाही की ओर बढ़ेगा, उक्त कार्रवाई इस बात का संकेत है। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर न्याय नहीं मिला, तो कांग्रेस इस मुद्दे को सड़क से लेकर सदन तक उठाएगी।